The Jail youths participation in Sudarshan Kriya and some team games was really inspiring for me! The simplicity and glimpse of innocence is still alive in them.
Here is translitrated version of press release given to the local media. Please pardon the typos:
श्री श्री रवि शंकर की संस्था "आर्ट ऑफ़ लिविंग" के द्वारा "कारागार तनाव मुक्ति व् पुनउत्थान" के तहत किशोर जेल के लगभग 100 कैदियो को आर्ट ऑफ़ लिविंग का शिविर कराया गया. इस चार दिवसीय शिविर में कैदियों को प्राणायाम व् श्री श्री रवि शंकर की विश्व विखियत सुदर्शन क्रिया का अभियास कराया गया.
पहले दो दिन सूर्य नमस्कार के अभियाश से इन युवाओ ने उनकी शारीरिक परेशनियों में आराम महसूस किया. सुदर्शन क्रिया के 2 सत्रों में अभियाश करने से कई बंदियों ने मानसिक तनाव से मुक्ति अनुभव की. गुदड़ी बाज़ार मेरठ के नयीम ने बताया की "मैंने जीवन में इतना शांत कभी महसूस नहीं किया, इस क्रिया को करके हम जीवन ख़ुशी और अच्चे रश्ते पर चल कर बिता सकते है". 20-21 साल के इन युवाओ को भूतकाल की घटनाओ से समाज के त्र्श्कर की ग्लानी व् आने वाले समय की अनिश्चिताय इन युवावो के तनाव का कारन बन जाती है, जो की इन्हें दिशा हीन कर रही है. एक २२ वर्षीय बंदी संजीव ने बतावा "जिन्होंने मुझे जेल भेजा उन से बदले की भावना थी मुझ में, लेकिन अब में उन्हें माफ़ कर सकता हूँ, में पूर्ण सब छोड़ अब जीवन जीना चाहता हूँ.".
"आर्ट ऑफ़ लिविंग" संस्था आज विश्व की एक सबसे बड़ी गैर सरकारी संस्था है, जो की १४६ से अधिक देशो में मानव मूलियो के उत्थान के लिए सेवा कर रही है. संस्था का "कारागार तनाव मुक्ति व् पुनउत्थान" अभियान पिछले १६ सालो से ३२ देशो के ३५०००० बंदियो के जीवन को एक नए चेतना प्रदान कर पुनरउत्थान के मार्ग पर ला रहा है.
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Anurag Arora
The Art of Living Faculty
09319862299
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1 comment:
Jai gurudev bhaiya..U are an inspiration for us!!
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